बड़ोदरा, एजेंसी। गुजरात के वडोदरा की हरणी मोटनाथ झील में बच्चों को ले जा रही एक नाव पलट गई। वड़ोदरा पुलिस ने बताया कि हादसे में 16 लोगों की मौत हो गई है। मरने वालों में 14 बच्चे और दो शिक्षक शामिल हैं। नाव में 27 बच्चे सवार थे, जोकि पिकनिक मनाने जा रहे थे।प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल ने दुर्घटना पर शोक जताया है।
मिली जानकारी के मुताबिक, वडोदरा के न्यू सनराइज स्कूल के 23 बच्चे और 4 शिक्षक पिकनिक मनाने के लिए हरणी झील गए थे। लोगों का कहना है कि सेल्फी लेने के लिए सभी बच्चे और शिक्षक नाव में एक ओर पहुंच गए। इससे नाव बेकाबू होकर पलट गई। नाव में सवार बच्चे और शिक्षकों ने लाइफ जैकेट भी नहीं पहनी थी। उनकी आवाज सुनकल आस-पास के लोग बचाने के लिए दौड़े। जब तक बचाव और राहत टीमें वहां पहुंची तब तक कई बच्चों को बचाया जा चुका था। बचाव और राहत कार्य में राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन बल (एनडीआरएफ) और फायर ब्रिगेड के साथ ही अन्य एजेंसियों को भी लगाया गया।
वडोदरा के जिला कलेक्टर एबी गोर ने इस बारे में जानकारी दी। उन्होंने कहा कि नाव पर 27 बच्चे थे। वडोदरा के जिलाधिकारी एबी गौड़ ने बताया कि नाव की क्षमता 16 लोगों की थी लेकिन इसमें 27 लोग सवार थे। हादसे के बाद बचाए गए बच्चों और शिक्षकों को जाह्नवी अस्पताल में भर्ती कराया गया। उन्होंने कहा कि हम अन्य लोगों का पता लगाने और उन्हें बचाने की कोशिश कर रहे हैं।
गुजरात के शिक्षा मंत्री कुबेर डिंडोर ने भी इस हादसे पर दुख जताया और कहा कि मुझे अभी पता चला है कि स्कूली छात्रों को ले जा रही एक नाव झील में पलट जाने से छह बच्चों की मौत हो गई। बचाव अभियान जारी है। राष्ट्रीय आपदा प्रतिक्रिया बल (एनडीआरएफ) और अग्निशमन कर्मी अन्य एजेंसियों के साथ बच्चों को खोजने में लगे हैं। वहीं, वडोदरा के मुख्य अग्निशमन अधिकारी पार्थ ब्रह्मभट्ट ने कहा कि स्कूली छात्रों यहां पिकनिक मनाने आए थे। दोपहर में जब वे नाव पर सवार होकर हरनी झील में थे तभी वह पलट गई। अग्निशमन विभाग ने अब तक सात छात्रों को बचा लिया है, जबकि लापता छात्रों की तलाश जारी है।
पीएम मोदी ने जताया दुख
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस हादसे पर दुख जताया है। उन्होंने कहा कि मैं वडोदरा की हरणी झील में नाव पलटने से हुई जनहानि से दुखी हूं। दुःख की इस घड़ी में मेरी संवेदनाएं शोकाकुल परिवारों के साथ हैं। घायलों के शीघ्र स्वस्थ होने की प्रार्थना करता हूं। स्थानीय प्रशासन प्रभावितों को हर संभव मदद कर रहा है। प्रत्येक मृतक के परिवार को प्रधानमंत्री राष्ट्रीय राहत कोष से 2 लाख रुपये की और हर घायल को 50 हजार रुपये की मदद की जाएगी