
उत्तरकाशी। हर्षिता ।अन्नकूट पर्व के पावन अवसर पर गंगोत्री धाम के कपाट बुधवार को अभिजीत मुहूर्त में विधिवत पूजा-अर्चना के साथ शीतकाल के लिए बंद कर दिए गए। भोग मूर्ति को डोली में विराजमान कर जयघोषों और बैंड की मधुर धुनों के बीच मां गंगा मुखवा (मुखीमठ) के लिए रवाना हुईं।

सुबह 8:30 बजे से शुरू हुईं तैयारियों के बीच उदय बेला में मां गंगा का मुकुट उतारा गया, इसके बाद तीर्थ पुरोहितों ने विशेष पूजा और ‘गंगा लहरी’ का पाठ किया। 11:55 बजे 14 राजस्थान राइफल्स के बैंड और पारंपरिक ढोल-दमाऊ की थाप के साथ मां गंगा की डोली मुखवा के लिए पदयात्रा पर निकली।
रात्रि विश्राम डोली का देवी मंदिर में होगा और 23 अक्तूबर की सुबह डोली मुखीमठ के गंगा मंदिर पहुंचेगी, जहां अगले छह माह तक मां गंगा की विधिवत पूजा-अर्चना होगी।
इस अवसर पर गंगोत्री विधायक सुरेश चौहान, पूर्व विधायक विजयपाल सजवाण, मंदिर समिति अध्यक्ष धर्मानंद सेमवाल, एसडीएम शालिनी नेगी, डीएसपी जनक पंवार, कोतवाल भावना कैंथोला सहित बड़ी संख्या में देश-विदेश से आए श्रद्धालु मौजूद रहे।
इस वर्ष गंगोत्री धाम में 7.57 लाख से अधिक तीर्थयात्रियों ने दर्शन किए। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने भी इस वर्ष मुखवा पहुंचकर मां गंगा की आराधना की थी।
🕉️ अब आगामी छह माह तक मुखवा में गूंजेगा — “हर-हर गंगे… जय मां गंगे!”
(केदारनाथ और यमुनोत्री धाम के कपाट गुरुवार को बंद होंगे।)
