रिखणीखाल -प्रभुपाल सिंह रावत। रिखणीखाल प्रखंड के अन्तिम गाँव चिलाऊ जो रिखणीखाल मुख्यालय से लगभग 35-40 किलोमीटर दूर ऊबडखाबड व खैबर के दर्रो के बीच अवस्थित है।कल माननीय मुख्य मंत्री जी का वक्तव्य था कि देश का विकास तभी सम्भव है जब गाँव का विकास निरन्तर चलता रहे,लेकिन यहाँ तो उल्टा हो रहा है,धरातल पर कुछ भी नजर नहीं आता।ग्राम चिलाऊ के लोग काफी सालों से सड़क मार्ग की मांग करते आ रहे हैं ये अब थक से गये हैं और अपना आपा खोते जा रहे हैं,तनाव में है।इनका कहना है कि 18 साल पहले पूर्व विधायक लेफ्टिनेंट जनरल अवकाशप्राप्त तेजपाल सिंह रावत जी ने गाँव के लिए सड़क स्वीकृत की थी लेकिन समय गुजरता गया तथा अभी पिछ्ले साल ग्राम सिलगाव तल्ला तक ही आ पायी,ग्राम चिलाऊ वाले देखते ही रह गये।

स्थानीय ग्रामीण श्री विक्रम सिंह रावत,बलबीर सिंह रावत कहते हैं कि हमारा तो पैदल रास्ता भी सुलभ नहीं है।स्कूली बच्चों को आना जाना दूभर व जंगली जानवरो का खतरा बराबर बना रहता है।प्राथमिक विद्यालय के भवन की हालत भी जर्जर है छत टपकता है।छत में तालाब जैसा पानी जमा रहता है।बच्चे पढाई से विरक्त होते जा रहे हैं।ऑनलाइन की पढ़ाई तो सपने देखने व तारे गिनने के समान है।कोई भी आधुनिक सुविधा गाँव में नहीं है जैसे कि हम अखबारो,टी वी चैनलों व माननीय प्रधान मंत्री जी व मुख्य मंत्री जी के भाषणो में सुनते व देखते हैं।न इस गाँव में अस्पताल,स्वास्थ्य सुविधा,संचार नेटवर्किंग, आदि ।जब गाँव में रात बिरत कोई बीमार हो जाये तो पूरा गाँव स्टैंड टू हो जाता है।अस्पताल पहुंचाना खतरे से खाली नहीं है।इनका कहना है कि हम लोग हिन्दुस्तान में नहीं अपने को पाकिस्तान में समझते हैं,जो हमारे साथ सौतेला व दुश्मन जैसा व्यवहार किया जा रहा है।

अन्त में कहते है कि हमने दृढ़संकल्प ले लिया है कि आगामी 2022 हमारा होगा तथा गाँव में “नो रोड नो वोट” का फार्मूला अपनाया जायेगा।इसी गाँव के एक और ग्रामीण दुबलू दा भी इसी संकल्प पर कायम है।इनका मकान जर्जर हालत में है या कहते हैं कि तब तक नहीं बनाऊगा जब तक गाँव में सड़क नहीं आती

By DTI