चमोली: हर्षिता।चमोली के जिले के नंदानगर क्षेत्र में एक बार फिर से आसमान से आफत बरसी है. 17 सितंबर की रात नंदानगर क्षेत्र के कुंतरी, धुर्मा गांव में अतिवृष्टि से अफरा-तफरी मच गई. जिला प्रशासन से मिली जानकारी के अनुसार, घटना में 12 लोगों के मलबे में लापता होने की संभावना जताई गई. जिसमें 2 व्यक्ति के शव बरामद कर लिए गए हैं. जबकि दो व्यक्तियों का मलबे से सकुशल रेस्क्यू किया गया है. 8 व्यक्ति अभी भी लापता हैं, जिनके लिए सर्च ऑपरेशन जारी है. कुंतारी लगाफाली, धुर्मा वार्ड में में 27 से 30 भवन व गौशालाएं क्षतिग्रस्त हुई हैं.

जिलाधिकारी संदीप तिवारी और पुलिस अधीक्षक सर्वेश पंवार ने गुरुवार को नंदानगर के कुंतरी फाली, सेरा और धुरमा गांवों का दौरा कर आपदा क्षेत्र का निरीक्षण किया. उन्होंने आपदा प्रभावितों से बातचीत कर आपदा की जानकारी ली और पीड़ितों के प्रति गहरी संवेदना व्यक्त करते हुए हर संभव सहायता उपलब्ध कराने का आश्वासन दिया.

नंदा नगर आपदा में कुल 10 लापता लोगों में 2 के शव बरामद कर शेष की खोजबीन जारी है. एनडीआरएफ और एसडीआरएफ की टीमों द्वारा कुंतरी से नरेंद्र सिंह और जगदम्बा प्रसाद दो लोगों के शव बरामद किए गए हैं. शेष 8 लापता लोगों की खोजबीन जारी है. इस दौरान गंभीर रूप से घायल और बीमार व्यक्तियों के तत्काल राहत हेतु 11 लोगों को हायर सेंटर भेजा गया, जिनमें भीम सिंह (55), कमला देवी (60), सचिता देवी (53 वर्ष) समेत अन्य 8 लोगों को हेलीकॉप्टर के माध्यम से उपचार हेतु देहरादून भेजा गया.

वहीं एक बच्चे को 5 से 7 साल के उम्र के बच्चे को एम्स ऋषिकेश लाया गया है. प्रोफेसर और हेली सेवा अधिकारी डॉ. मधुर उनियाल ने जानकारी देते हुए बताया कि, नंदप्रयाग से हेलीकॉप्टर द्वारा एक बच्चा एम्स लाया गया है. बच्चे की हालत गंभीर है. विस्तृत जांच अभी जारी है. रेडियोलॉजी जांच अभी बाकी है, लेकिन उससे पहले हमने बच्चे की हालत स्थिर कर दी है. पहली नजर में ऐसा लग रहा है कि उसके सिर में चोट लगी होगी. जांच पूरी होने के बाद ही हम चोट की गंभीरता और बाकी सब चीज़ों के बारे में बेहतर बता पाएँगे।

“जिलाधिकारी ने मौके पर मौजूद अधिकारियों को बाधित मार्गों को शीघ्र सुचारु करने, प्रभावित परिवारों को राहत शिविरों में शिफ्ट करने और भोजन और पेयजल की समुचित व्यवस्था सुनिश्चित करने के निर्देश दिए. कुंतरी लगा फाली के प्रभावित परिवारों के लिए सैती प्राथमिक विद्यालय, मरिया आश्रम और पूर्ति निरीक्षक गोदाम में राहत शिविर स्थापित किए गए हैं. धुरमा गांव के लगभग 25 और सेरा गांव के लगभग 12 प्रभावित परिवारों के लिए शिविरों की व्यवस्था तहसील प्रशासन द्वारा की जा रही हैं.

By DTI